भारत में सबसे ज्यादा परेशानी
झेलनेवाला इलाका है जम्मू और कश्मीर का. भारत के आजादीः से पहले यह इलाका एक
अत्यंत ही सुन्दर एवं प्राकृतिक संसाधनों का खजाना था. हिमालय पर्वत के सहारे यहाँ
पे देवताओं का अधिवास था ऐसे प्रमाण हमें पुराणों में देखने को मिलते है. हिमालय
पर्वत पे कैलास तीर्थ है, यहाँ रहते है स्वयं ब्रम्हांड के स्वामी शिवजी. आज भी
हिमालय पर्वत पे एक आम धारणा है की आज भी शिवजी कैलास पे विराजमान है. इसीलिए
कैलास तीर्थ को पृथ्वी पे उपलब्ध सबसे पवित्र जगह का दर्जा प्राप्त है और यही कारन
है की हिमालय पर्वत पे जाने वाले योगियों तथा अन्य पर्यटकों को कैलास पर्वत पे
जाने की अनुमति नहीं है. कोई भी जीवित व्यक्ति कैलास पे नहीं जा सकता.
कैलास पे स्वयं शिवजी के साथ महाबलि
हनुमानजी भी निवास करते है. पुराने जमानेसे तीर्थयात्री हिमालय को भेट देते आ रहे है
और उन में से कुछ तीर्थयात्रीयो को प्रत्यक्ष हनुमानजी ने दर्शन भी दिए है. उन्ही
में से एक तीर्थयात्री है श्री स्वामी समर्थ जो की महाराष्ट्र के सज्जनगढ़ के
निवासी थे. वह एक राष्ट्र संत थे जिन्हें प्रत्यक्ष हनुमानजी और जगतगुरु श्री
दत्तात्रेय जी ने दर्शन और मार्गदर्शन दिया है.
हिमालय में और भी बहुत कुछ है. वहा
नायब और बहुत ही दुर्लभ जडीबुटी का भंडार है. ये जडीबुटी केवल हिमालय में ही उग
सकती है. पुराने ज़माने में हनुमानजी हिमालय से ही तो संजीवनी बूटी लाये थे. आज भी
कई सारे वैज्ञानिक हिमालय में रहकर जडीबुटी उगाते है और उनपर संशोधन करते है.
हिमालय में बहुत सारे अनोखे एवं दुर्लभ प्रजाति के वन्य पशु एवं पक्षी भी पाए जाते
है. जैसे की कश्मीरी मृग. यहाँ हिमालयीन तेंदुआ भी नजर आता है. कश्मीर की चाय, सेब
सब ने खाए होंगे. कश्मीरी केसर तो कश्मीर के मुकुट में मणि की तरह है. कश्मीरी
केसर काफी महेंगी चीज है जो की बहुत ही कम मात्र में उगाई जाती है. कश्मीर के
बगीचे, उद्यान, तालाबो का पानी हर एक व्यक्ति को कश्मीर की तरफ खिंच लेता है.
इनता सब होते हुए भी आज कश्मीर बहुत
ही खस्ता हालत में है. और इसके पीछे है पाकिस्तान. पाकिस्तान ने कश्मीर को भारत से
तोड़ने के लिए हर संभव प्रयास किये है और करता रहेगा. पाकिस्तान ने धरती के जन्नत
को नरक में तब्दील कर दिया है. वहा के बच्चो से लेके बड़ो तक हर एक के मन में भारत
के खिलाफ जहर भर दिया है, और जिहाद के नाम पर वहा के बच्चो के हातो में किताबो की
बजाय बन्दुखे और पत्थर पकड़ा दिए है. आज वहा के लोगो को खाने के लिए दो वक़्त की
रोटी तक नसीब नहीं हो रही. जो बच्चो को पढाई लिखाई करके कारखानों और विद्यालयो में
काम करना चाहिए वही ये बच्चे सडको पर भारत के खिलाफ नारेबाजी करते रहते है. अब पता
नहीं आगे क्या होने वाला है? उम्मीद करते है की जम्मू और कश्मीर के लोगोको जल्द ही
अच्छी समज आजाये और वे सब लोग एकसाथ मिलकर भारत के प्रगति के लिए और खुद के लिए
मेहनत करे.